हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि आपने वित्त मंत्रालय का एक नोटिफिकेशन देखा होगा, जिसमें कहा गया है कि पेट्रोल और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी में 2 रुपये की बढ़ोतरी की जा रही है। उन्होंने कहा कि इसका बोझ कंज्यूमर पर नहीं डाला जाएगा। उन्होंने बताया, “कच्चे तेल की इंटरनेशनल प्राइस घटकर लगभग 60 डॉलर प्रति बैरल हो गई है, लेकिन याद रखें कि हमारी ऑयल मार्केटिंग कंपनियां 45 दिनों की अवधि के लिए स्टॉक रखती हैं। अगर आप जनवरी में वापस जाएं, तो उस समय कच्चे तेल की कीमत 83 डॉलर थी, जो बाद में घटकर 75 डॉलर हो गई। इसलिए उनके पास जो कच्चे तेल का स्टॉक है, वह औसतन 75 डॉलर प्रति बैरल है।”