1947 में देश नहीं हुआ था आजाद, बिहार बीजेपी चीफ सम्राट चौधरी का विवादित बयान
1 min readबिहार भाजपा अध्यक्ष सम्राट चौधरी ने कहा कि मैं 1947 में देश को आजाद नहीं मानता हूं। मेरा मानना है कि लोकनायक जेपी के संपूर्ण क्रांति के बाद 1977 में गठित सरकार से ही सही मायनों में देश को आजादी मिली।
बिहार भाजपा अध्यक्ष सम्राट चौधरी ने विवादास्पद बयान दिया है। रविवार को सनातन संस्कृति चेतना समिति के तत्वावधान में आयोजित गोस्वामी तुलसीदास की जयंती समारोह में उन्होंने कहा कि मैं 1947 में देश को आजाद नहीं मानता हूं। मेरा मानना है कि लोकनायक जयप्रकाश नारायण के संपूर्ण क्रांति के बाद 1977 में गठित सरकार से ही सही मायनों में देश को आजादी मिली।
उन्होंने कहा कि गोस्वामी तुलसीदास की कृतियां सदैव हम सबों के लिए प्रेरणा दायक रहेगा। बिहार सरकार पर हमला करते हुए कहा कि बिहार के बजट में केंद्र का हिस्सा 229000 करोड़ है। बिहार की अपनी आमदनी मात्र 32 हजार करोड़ है l बिहार से सटे यूपी का बजट 14 गुना अधिक है। अयोध्या में भगवान राम का मंदिर बन रहा है। अब बिहार के सीतामढ़ी में सीता माता का मंदिर बनाना है l
वहीं केंद्रीय राज्यमंत्री अश्विनी चौबे ने कहा कि गोस्वामी तुलसीदास की रचना अतुलनीय है। समिति के अध्यक्ष मिथिलेश तिवारी ने कहा कि आधे-अधूरे ज्ञान वाले राजनेता तुलसीदास की कृतियों पर ओछी बयान देकर सस्ती लोकप्रियता हासिल करना चाहते हैं। हम आजादी के लिए सबसे पहले बलिदान देने वाले मंगल पांडे, चंद्रशेखर आजाद और लक्ष्मी बाई हैं तो चन्द्रगुप्त के चाणक्य और आर्यभट्ट भी हैं।
बिहार सरकार आरक्षण विरोधी : सम्राट चौधरी
सम्राट चौधरी ने बिहार सरकार को आरक्षण विरोधी होने का आरोप लगाया है। रविवार को प्रदेश भाजपा कार्यालय में पीएम के मन की बात को सुनने के बाद पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि सत्ताधारी दल के नेता अतिपिछड़ा, दलित व सवर्ण विरोधी है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मन की बात में देश में महिलाओं के सशक्तीकरण को लेकर चर्चा की।
एक अन्य सवाल के जवाब में सम्राट चौधरी ने कहा कि इंडिया गठबंधन में गांव-टोला का संयोजक बनाने की तैयारी है। भाजपा पर जातीय सर्वेक्षण का विरोध करने से संबंधित सवाल पर उन्होंने कहा कि मंडल कमीशन में लालू प्रसाद का कोई योगदान नहीं था। जो आज चर्चा कर रहे हैं उन्हें जानना चाहिए कि 1977 में मंडल कमीशन आयोग बना और कांग्रेस इसकी रिपोर्ट 12 सालों तक लागू नहीं होने दी।